क्या शिवशंकर नगर SRA सहकारी गृहनिर्माण संस्था के साथ भ्रष्टाचार में सरकारी विभाग और कलेक्टर लिप्त नहीं ?

जांच क्यों नहीं होती ?

प्रशासन की मिलीभगत से SRA योजना में हुआ भ्रष्टाचार

झोपड़ा मालिक परेशान न शासन को फिक्र है ना प्रशासन को चिंता!

सुरेंद्र राजभर
मुंबई-
सरकारें कितना भी कठोर कानून बनाती रहे लेकिन सरकारी अमला यानी प्रशासन की मिलीभगत से भ्रष्टाचार होता रहता है! गरीब झोपड़ा मालिक परेशान होता रहे, न शासन को इसकी फिक्र होती है, न प्रशासन को चिंता, दोनों आलीशान जिंदगी जीने में मस्त! जनसेवक नेता और जनता के नौकर प्रशासनिक अधिकारियों के चेहरे पर भ्रष्टाचार की शिकन तक नहीं दिखती!

हम बात कर रहे हैं, कांदिवली (पश्चिम) के लिंक रोड़ लालजी पाड़ा बीट चौकी स्थित SRA स्कीम शिवशंकर नगर के प्लॉट नंबर 817, 818, 819, 855, 850 B और 819 B पर SRA स्कीम के तहत, विकास सहकारी गृहनिर्माण संस्था द्वारा भ्रष्टाचार करने और उसमें कलेक्टर उपनगर पश्चिम या सरकारी विभाग के अधिकारियों के साथ मिलकर झोपड़ा मालिकों को मूर्ख बनाने में लिप्तता जाहिर होती है!

Advertisements

आपको बताते चलें कि भ्रष्ट विकासक सोसाइटी चलाता है! SRA स्कीम के अंतर्गत विकासक ने बिल्डिंग नंबर 1 का काम अधूरा छोड़कर बिल्डिंग नंबर दो को 22 मंजिला 2 वर्ष पूर्व तैयार कर लिया था! जिसमें किसी झोपड़ा मालिक का पुनर्वासन नहीं किया गया! यह ज्ञात नहीं हो पा रहा, कि कितने फ्लैट बेचे और कितने भाड़े पर दिए गए हैं !

सरकारी अफसरों की संबंधित इमारत पर परीक्षण की पहली तस्वीर दिनांक 7/10/2020

क्षेत्रीय रहिवासी मंगेश ओमकुमार चौहान ने उक्त भ्रष्टाचार के संदर्भ में मुख्य कार्यकारी अभियंता झोपड़पट्टी पुनर्वासन प्राधिकरण तथा उपजिलाधिकारी उपनगर पश्चिम और मनपा सहायक आयुक्त आर/दक्षिण विभाग को पत्र देकर जांच का अनुरोध किया था! दिनांक 24/09/ 2020 को 11:30 बजे का समय निश्चित का निरीक्षण करने नहीं आए! प्रश्न है क्यों कतरा रहे थे निरीक्षण को ?

यक्ष प्रश्न– सहायक आयुक्त मनपा वार्ड आर/दक्षिण विभाग उक्त विकासक को 31 अप्रैल 2004 को उक्त भूखंड पर निर्माण का आदेश जारी किया था! क्या बिल्डिंग नंबर 1 का काम अधूरा छोड़कर बिल्डिंग नंबर 2 को 22 मंजिला बनाकर झोपड़ा मालिकों को आवंटित न कर उसके फ्लैट बिक्री करने और भाड़े पर देना उचित है ? क्या यह भ्रष्टाचार नहीं ? यदि भ्रष्टाचार है तो सहकारी विभाग झोपड़पट्टी पुनर्वासन प्राधिकरण और कलेक्टर उपनगर पश्चिम की भूमिका संदिग्ध नहीं ? क्या दोनों या कोई एक भ्रष्ट विकासक के भ्रष्टाचार में सहभागी नहीं ? उत्तर कौन देगा ?

हम प्रेस के माध्यम से मांग करते हैं कि उपरोक्त मामले की न्यायिक जांच कर दोषियों को दंडित किया जाय!


Discover more from  

Subscribe to get the latest posts sent to your email.

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Advertisements

Discover more from  

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading

Scroll to Top