मालाड वेस्ट के इंटरफेस हाइट्स सोसाइटी में 7 साल के बच्चे को कार से कुचलने के मामले में पुलिस ने आरोपी महिला को गिरफ्तार नहीं किया, बल्कि सिर्फ नोटिस देकर छोड़ दिया। वकील और सामाजिक कार्यकर्ता अभा सिंह ने पुलिस की कार्रवाई पर सवाल उठाते हुए कहा कि मामला गैर-जमानती अपराध के तहत आता है।
मुंबई: मालाड वेस्ट इलाके में एक दिल दहला देने वाला हादसा हुआ, जहाँ एक सात वर्षीय बच्चा अपनी सोसाइटी के अंदर खेलते समय एक महिला की कार की चपेट में आ गया। बच्चे का पैर बुरी तरह टूट गया। पुलिस ने आरोपी महिला श्वेता शेट्टी-राठौड़ के खिलाफ एफआईआर दर्ज की, लेकिन गिरफ्तारी के बजाय सिर्फ नोटिस जारी किया। इस पर सामाजिक कार्यकर्ता और एडवोकेट अभा सिंह ने पुलिस की कार्रवाई पर सवाल उठाए हैं, क्योंकि मामला गैर-जमानती अपराध के अंतर्गत आता है।
मालाड वेस्ट की इंटरफेस हाइट्स सोसाइटी में हादसा
यह हादसा 19 अक्टूबर को मालाड वेस्ट स्थित इंटरफेस हाइट्स सोसाइटी में हुआ। सात साल का अन्वय मजूमदार अपने भाई और दोस्तों के साथ सोसाइटी के परिसर में खेल रहा था, जब आरोपी महिला श्वेता शेट्टी-राठौड़ ने अपनी कार तेज गति से परिसर में चलाई और अन्वय के पैर पर चढ़ा दी।
CCTV फुटेज में घटना साफ कैद हुई है। बच्चे की मां महुआ मजूमदार (45) ने पुलिस को बताया कि शाम करीब 5:30 बजे उनके दूसरे बेटे ने इंटरकॉम से कॉल कर कहा – “माँ, अन्वय का पैर कुचल गया।”
बच्चे की हालत गंभीर, सर्जरी जरूरी
घटना के बाद अन्वय को तुरंत एवर्शाइन नगर के एक नर्सिंग होम ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे कोकिलाबेन अस्पताल, अंधेरी रेफर कर दिया। जांच में पता चला कि बच्चे के टखने और पिंडली की हड्डी टूट गई है और सर्जरी करनी पड़ी।
डॉक्टरों के अनुसार, चोटें गंभीर हैं लेकिन बच्चे की स्थिति अब स्थिर बताई जा रही है।
पुलिस की कार्रवाई पर सवाल – क्यों नहीं की गई गिरफ्तारी?
बांगुर नगर पुलिस ने शुरुआत में आरोपी के खिलाफ रैश ड्राइविंग (धारा 281 BNS) और जीवन को खतरे में डालने (125b BNS) के तहत मामला दर्ज किया। बाद में इसमें धारा 110 BNS (attempt to commit culpable homicide) जोड़ी गई, जो गैर-जमानती अपराध है।
इसके बावजूद पुलिस ने आरोपी महिला को गिरफ्तार करने के बजाय सिर्फ नोटिस जारी कर छोड़ दिया।
इस पर एडवोकेट अभा सिंह ने कहा —
“धारा 110 BNS के तहत अपराध संज्ञेय और गैर-जमानती है। जब सीसीटीवी फुटेज में सबूत साफ हैं, तो पुलिस को आरोपी को गिरफ्तार करने का पूरा अधिकार था। सिर्फ नोटिस देकर छोड़ना कानूनी रूप से उचित नहीं है।”
आरोपी महिला कौन है?
आरोपी श्वेता शेट्टी-राठौड़ एक एचआर कंसल्टेंट हैं और इंटरफेस हाइट्स सोसाइटी के सचिव संजय राठौड़ की पत्नी हैं। पुलिस के अनुसार, वह घटना के समय अपनी कार चला रही थीं जब यह दुर्घटना हुई।
एफआईआर में दर्ज धाराएं
मजूमदार परिवार की शिकायत पर पुलिस ने इन धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है:
- धारा 281 (लापरवाह ड्राइविंग)
- धारा 125(b) (दूसरों के जीवन को खतरे में डालना)
- धारा 110 (गैर-जमानती अपराध – हत्या के प्रयास जैसा अपराध)
- मोटर व्हीकल एक्ट की धारा 184, 134(a), 134(b) — (खतरनाक ड्राइविंग, मदद न देना, घटना की रिपोर्ट न करना)
कानूनी नजरिया – अभा सिंह का बयान
अभा सिंह ने स्पष्ट किया कि भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 110 के तहत यदि किसी व्यक्ति के कार्य से मृत्यु की संभावना होती है, तो यह अपराध ‘culpable homicide not amounting to murder’ की श्रेणी में आता है।
उन्होंने कहा —
“इस मामले में बच्चा बहुत छोटा था और उसकी जान को गंभीर खतरा हुआ। सीसीटीवी फुटेज में पूरी घटना दिख रही है, इसलिए आरोपी की गिरफ्तारी बनती है।”
पुलिस की सफाई
बांगुर नगर पुलिस स्टेशन के वरिष्ठ निरीक्षक रविंद्र अव्हाड ने बताया कि जांच अभी जारी है और सभी साक्ष्यों को देखने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि फिलहाल आरोपी महिला से पूछताछ चल रही है।
FAQ (अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न)
Q1. यह घटना कहाँ हुई थी?
A1. यह हादसा मालाड वेस्ट के इंटरफेस हाइट्स सोसाइटी में हुआ।
Q2. आरोपी महिला कौन हैं?
A2. आरोपी श्वेता शेट्टी-राठौड़, जो सोसाइटी सचिव की पत्नी और एक HR कंसल्टेंट हैं।
Q3. पुलिस ने क्या कार्रवाई की है?
A3. पुलिस ने एफआईआर दर्ज की लेकिन गिरफ्तारी के बजाय आरोपी को नोटिस देकर छोड़ दिया।
Q4. बच्चा अभी कहाँ इलाज करवा रहा है?
A4. बच्चा कोकिलाबेन अस्पताल, अंधेरी में भर्ती है और उसकी सर्जरी हो चुकी है।
Q5. क्या आरोपी पर गैर-जमानती धारा लगी है?
A5. हाँ, धारा 110 BNS गैर-जमानती अपराध के अंतर्गत आती है, लेकिन गिरफ्तारी नहीं की गई।
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