MUMBAI: रेलवे स्टेशनों पर स्वच्छता पखवाड़ा का ड्रामा

स्वच्छता अभियान के तहत पखवाड़ा का ड्रामा कर कल्याण रेलवे स्टेशन पर अधिकारी एवं कर्मचारी सरकारी पैसों का बंटाधार कर रहे हैं।

वी बी माणिक
मुंबई
– मध्यरेल के पांचों मंडलो में इस समय स्वच्छता पखवाड़ा का दिखावा जोर-शोर से चल रहा है। सारे अधिकारी अपने मंडलो में फोटो खिंचवाकर वाह-वाही लूट रहे है। जो कार्य नित्य करना है वो कार्य वर्ष में पखवाड़ा मनाकर यात्रियों को खुलेआम मूर्ख बनाकर अधिकारी अपनी झोली भरने का कार्य कर रहे है।

मुंबई के सभी लोकल स्टेशनों पर शौचालय इतने गंदे है, कि यात्रियों को उसके दुर्गंध से ही बेहोशी आने लगती है शिकायत करने पर कोई कार्यवाही तक नही होती। कोई सुनने वाला नही है। महिला शौचालयों में भारी लूटपाट की जाती है। क्या इस पर कोई कार्रवाई अभी तक की गई है? अगर की गई है उसकी जानकारी क्यों नहीं दी जाती है। रेलवे अधिकारियों को चुल्लू भर पानी मे डूब मरना चाहिए।

Advertisements

इसे भी पढ़े:- Mumbai की लोकल ट्रेन में विवादास्पद बेली डांस पर छिड़ी बहस, DRM ने की जनता से अपील ..

स्वच्छता,

स्वच्छता पखवाड़ा ..

ये जो पखवाड़ा बाजी करते है स्वच्छता प्रतिदिन होना चाहिए। जो नही किया जाता। केवल सफाई करने वाले ठेकेदारों से हफ्ता वसूली बड़े पैमाने पर चल रहा है और स्वच्छता पखवाड़ा मनाया जा रहा और वो भी केवल चिन्हित गाड़ियों और स्थानों पर इससे बड़े शर्म की बात और क्या हो सकती है।

कल्याण स्टेशन पर तो महिलाओ के लिए शौचालय की कोई सुविधा उपलब्ध नहीं है जो कि मध्यरेल के महाप्रबंधक नरेश लालवानी ने आदेश भी जारी किया है। फिर भी कोई कार्य शुरू नही किया गया है। अभी टेंडरिंग प्रोसेस में है। कल्याण स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर 4/5 पर महिलाये परेशान रहती है।

Live video on Indian fasttrack news channel

Discover more from  

Subscribe to get the latest posts sent to your email.

1 thought on “MUMBAI: रेलवे स्टेशनों पर स्वच्छता पखवाड़ा का ड्रामा”

  1. Pingback: Mumbai: डेढ़ साल का मासूम बच्चा हुआ किडनैप, महज़ 12 घंटे के भीतर पुलिस ने किया गिरफ्तार - Indian Fasttrack (Electronic Media)

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Advertisements
Scroll to Top

Discover more from  

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading