बॉम्बे हाईकोर्ट ने वर्सोवा–भायंदर कोस्टल रोड परियोजना को हरी झंडी दे दी है। करीब 45 हजार मैंग्रोव कटेंगे, बदले में तीन गुना पौधारोपण और 10 साल की निगरानी अनिवार्य होगी।
मुंबई देश की आर्थिक राजधानी मुंबई शहर को मिरा-भायंदर से सीधे जोड़ने वाली बहुप्रतीक्षित वर्सोवा–भायंदर कोस्टल रोड परियोजना को आखिरकार बॉम्बे हाईकोर्ट की मंजूरी मिल गई है। अदालत ने बीएमसी को करीब 45 हजार मैंग्रोव काटने की सशर्त अनुमति दी है। इसके बदले बीएमसी को तीन गुना पौधारोपण, चंद्रपुर में 103 हेक्टेयर वनरोपण और अगले 10 वर्षों तक हर साल निगरानी रिपोर्ट जमा करनी होगी। इस फैसले से मुंबई के उत्तरी हिस्से की ट्रैफिक समस्या कम होने की उम्मीद है।
हाईकोर्ट का अहम फैसला
बॉम्बे हाईकोर्ट ने बीएमसी की याचिका पर सुनवाई करते हुए वर्सोवा–भायंदर डेवलपमेंट प्लान रोड (कोस्टल रोड नॉर्थ) को आगे बढ़ाने की अनुमति दे दी।
हालांकि अदालत ने साफ किया कि—
- परियोजना पर 10 साल तक निगरानी जरूरी होगी
- हर साल कम्पनसेटरी प्लांटेशन की रिपोर्ट जमा करनी होगी
अदालत का कहना है कि विकास के साथ पर्यावरण संतुलन भी उतना ही जरूरी है।
कितने मैंग्रोव कटेंगे, कितना होगा पुनरोपण
परियोजना के तहत—
- कुल मैंग्रोव: करीब 60,000
- प्रभावित होंगे: 45,675 मैंग्रोव
- सड़क निर्माण के लिए सीधे कटेंगे: करीब 9,000 मैंग्रोव (10 हेक्टेयर)
बीएमसी ने भरोसा दिलाया है कि—
- तीन गुना मैंग्रोव पुनरोपण किया जाएगा
- चंद्रपुर जिले में 103 हेक्टेयर क्षेत्र में अनिवार्य वनरोपण होगा
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वर्सोवा से भायंदर तक कैसा होगा रोड नेटवर्क
यह कोस्टल रोड मुंबई के पश्चिमी किनारे पर एक बड़ा ट्रैफिक कॉरिडोर बनेगा।
रूट डिटेल्स
- शुरुआत: वर्सोवा
- बीच के इलाके: मलाड, मालवनी, कांदिवली, बोरीवली, दहिसर
- अंत: भायंदर (मिरा-भायंदर)
संरचना
- एलिवेटेड रोड
- फ्लाईओवर और इंटरचेंज
- टनल और ब्रिज
- सतही ट्रैफिक कम करने की व्यवस्था
दो फेज़ में बनेगी कोस्टल रोड
- फेज-1: वर्सोवा से दहिसर
- लंबाई: लगभग 20–25 किमी
- इसे कोस्टल रोड फेज-2 या वर्सोवा–दहिसर लिंक रोड भी कहा जाएगा
- फेज-2: दहिसर से भायंदर
- एलिवेटेड रोड
- लंबाई: 5.6 किमी, चौड़ाई 45 मीटर
कुल मिलाकर इंटरचेंज और कनेक्टर मिलाकर नेटवर्क 60 किलोमीटर से ज्यादा का होगा।
ट्रैफिक और कनेक्टिविटी को मिलेगा बड़ा फायदा
बीएमसी के अनुसार—
- वेस्टर्न सबर्ब्स से मिरा-भायंदर का सफर तेज होगा
- वेस्टर्न एक्सप्रेस हाईवे और लिंक रोड पर दबाव घटेगा
- रोज़ाना लाखों यात्रियों को राहत मिलेगी
पर्यावरण बनाम विकास की बहस फिर तेज
जहां एक तरफ इस प्रोजेक्ट को ट्रैफिक समस्या का स्थायी समाधान बताया जा रहा है, वहीं दूसरी ओर मैंग्रोव कटाई को लेकर पर्यावरणविदों की चिंता भी बनी हुई है।
हाईकोर्ट ने इसी संतुलन को ध्यान में रखते हुए सख्त शर्तों के साथ मंजूरी दी है।
FAQ सेक्शन
Q1: वर्सोवा–भायंदर कोस्टल रोड क्या है?
यह मुंबई को मिरा-भायंदर से जोड़ने वाली 26.3 किमी लंबी तटीय सड़क परियोजना है।
Q2: कितने मैंग्रोव काटे जाएंगे?
करीब 45,675 मैंग्रोव प्रभावित होंगे, जिनमें से लगभग 9,000 सीधे कटेंगे।
Q3: बदले में क्या किया जाएगा?
तीन गुना पौधारोपण और चंद्रपुर में 103 हेक्टेयर वनरोपण किया जाएगा।
Q4: कोर्ट ने क्या शर्त रखी है?
10 साल तक निगरानी और हर साल रिपोर्ट दाखिल करना अनिवार्य होगा।
Q5: इससे आम लोगों को क्या फायदा होगा?
ट्रैफिक कम होगा और वेस्टर्न सबर्ब्स से भायंदर तक सफर तेज होगा।
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