इस्माइल शेख
मुंबई- शहर में भीड़ का फयदा उठाकर अनेक नागरिकों के साथ खुद को जान पहचान वाला बताते हुए या किसी और बहाने से, उनके किमती सोने के गहने और कैश रुपये लगातार लूटे जाने की शिकायत मुंबई क्राईम ब्रांच के संपत्ति कक्ष को प्राप्त हो रही थी। ऐसा ही एक मामला 26 मार्च 2021 की शाम 8:35 को चेंबूर पुलिस थाने में दर्ज हुआ था।
मिली जानकारी के मुताबिक, चेंबूर पुलिस थाने में गु.र.क्र. 90/2021 में भादवी की धारा 420, 34 के तहत मामला दर्ज कर मुंबई गुन्ह प्रकटीकरण शाखा के संपत्ति कक्ष ने 2 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। आरोपियों के पास से कुछ भी बरामद नही हुआ है, इसकी जानकारी पुलिस ने दी।
पुलिस ने बताया, कि घटना के दोनों ही आरोपी अपराधिक प्रवृति के लोग है। ये लोग अपनी पहचान छिपाकर दिवा, शिल फाटा, डोंबीवली, कल्याण, नवी मुंबई जैसे अलग-अलग जगहों पर रहते हैं। जांच में पुलिस को ऐसी जानकारियां प्राप्त हुई थी। लेकिन आरोपियों द्वारा दूसरों के नाम का सिम कार्ड इस्तेमाल करने की जानकारियां भी मिल रही थी। ऐसे में आरोपियों का पता लगाना पुलिस के लिए मुश्किल था।
अपराध प्रकटीकरण, गु.अ.वि. मुंबई के संपत्ति कक्ष लगातार मामले की जांच करते हुए सीसीटीवी फुटेज और टेक्नोलॉजी के साथ गुप्तचरों के जरिए मुख्य आरोपी का पीछा किया। तो पता चला कि आरोपी अपनी पहचान छिपाकर दिवा पूर्व के परिसर में रह रहा है। पुलिस ने लगातार पूरे परिसर की रेकी की और ओरोपी का सही ठिकाना पता लगाकर उसे हिरासत में लिया।
पकड़े जाने के बाद, पूछताछ में उसने बताया, कि उसका साथी यानी घटना को अंजाम देने वाला दूसरा आरोपी माटुंगा में रह रहा है। तुरंत संपत्ति कक्ष के एक दूसरी टीम ने वहां से दूसरे आरोपी को भी हिरासत में ले लिया। दोनों की हुई पूछताछ में आरोपियों ने मुंबई सहित मिरा भायंदर के कई इलाकों में अब तक कुल 4 घटनाओं को अंजाम देने का खुलासा किया है।
कहां-कहां लोगों को लूटा है..
गिरफ्तार आरोपियों ने मुंबई के मालाड़, पंतनगर, आरसीएफ, मिरा रोड़, नालासोपारा, भायंदर और ठाणे के इलाकों में घटना को अंजाम देने का खुलासा किया है। पुलिस ने बताया, कि ये लोग सूनसान या एकांत देखकर लोगों से बात करने के बहाने नज़दीक होते थे और मौका पाकर उनके किमती गहनों और रुपये पर हाथ साफ कर रफू चक्कर हो जाया करते थे।
प्रशासन की प्रशंसनिक टीम..
आरपियों के खिलाफ चेंबूर पुलिस थाने में मामला दर्ज कर अधिक जांच के लिए चेंबूर पुलिस के हवाले कर दिया गया है। मामले पर और अधिक जानकारी देते हुए आप को बता दें, कि सहायक पुलिस आयुक्त (गुन्हे) मिलींद भारांबे, अतिरिक्त पुलिस आयुक्त (गुन्हे) विरेश प्रभु, पुलिस उपायुक्त (प्रकटीकरण) प्रकाश जाधव पूरे मामले में निगरानी कर टीम को दिशानिर्देश दे रहे थे।
सहाय्यक पुलिस आयुक्त, डी (विशेष) क्राईम ब्रांच, शशांक सांडभोर के मार्गदर्शन में संपत्ति कक्ष के प्रभारी पुलिस निरिक्षक शशिकांत पवार एवं पुलिस निरीक्षक किरण बिडवे के नेतृत्व में सहाय्यक पुलिस निरीक्षक सचिन कदम, नागेश पुराणिक, पुलिस उपनिरिक्षक मनोज पाटील, गादेकर, साळुंखे, सहायक फौजदार राजेश सावंत, पुलिस हवलदार सुनिल कांगणे, पोन किरण जगताप, विनोद मदमन, चिंतामन इरनक, आनंदा गेंगे, मंगेश जगझाप, महिला पुलिस सिपाही रंजना निचिते, नयना पाटील, पोशिवा शरद मुकुंदे और भिमराव गायकवाड़ ने शातिर गिरोह का खुलासा कर कानून के हवाले किया है।
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