मुंबई में मोबाइल का IMEI नंबर बदलने वाला गिरोह पकड़ा गया, क्राइम ब्रांच ने दो को किया गिरफ्तार

मुंबई क्राइम ब्रांच ने पवई इलाके से दो लोगों को गिरफ्तार किया, जो मोबाइल फोन का IMEI नंबर बदलने का गैरकानूनी काम कर रहे थे। पुलिस ने मौके से संदिग्ध मोबाइल जब्त किए और मामला दर्ज कर आगे की जांच शुरू कर दी है।

मुंबई: पवई इलाके में मुंबई पुलिस की क्राइम ब्रांच ने शुक्रवार को एक मोबाइल शॉप में छापामारी कर दो लोगों को गिरफ्तार किया है। आरोप है कि ये लोग मोबाइल फोन का IMEI नंबर बदलने का गैरकानूनी काम कर रहे थे।

पकड़े गए आरोपियों के नाम हैं –

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  • रामप्रसाद सरगुन राजभर (37)
  • गुलाम रसूल राशिद खान, जो पवई में मोबाइल शॉप चलाता है और टेक्नीशियन भी है।

क्राइम ब्रांच यूनिट 6 को जब पुख्ता सूचना मिली, तो उन्होंने छापा मारकर इस धंधे का खुलासा किया।

📱 IMEI नंबर क्या होता है और क्यों है ज़रूरी?

IMEI (International Mobile Equipment Identity) एक 15 अंकों का यूनिक नंबर होता है, जो हर मोबाइल फोन की पहचान बताता है।

  • इससे फोन का असली मालिक और लोकेशन ट्रैक करना आसान होता है।
  • चोरी हुए या गुम फोन को ट्रेस करने में पुलिस को IMEI बहुत मदद करता है।
    👉 लेकिन जब इसका नंबर बदल दिया जाता है, तो मोबाइल की पहचान बदल जाती है और अपराधियों को पकड़ना मुश्किल हो जाता है।

🔍 कैसे पकड़ा गया गिरोह?

क्राइम ब्रांच यूनिट 6 (चेंबूर) की टीम को खबर मिली थी कि पवई के एक मोबाइल शॉप में संदिग्ध तरीके से IMEI नंबर बदला जा रहा है।

  • पुलिस ने छापा मारते समय पाया कि आरोपी “App Unlock Tool” (गूगल क्रोम के जरिए) इस्तेमाल कर रहे थे।
  • इस सॉफ्टवेयर की मदद से मोबाइल का असली IMEI बदलकर नया नंबर डाला जा रहा था।
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👮 पुलिस की कार्रवाई

  • छापे में कई संदिग्ध और फर्जी सेकेंड-हैंड मोबाइल बरामद हुए।
  • पूछताछ में दोनों आरोपियों ने अपना जुर्म कबूल किया।
  • उन्हें भारतीय न्याय संहिता (Bharatiya Nyaya Sanhita – BNS) की संबंधित धाराओं में बुक किया गया।
  • मेडिकल टेस्ट के बाद उन्हें मुंबई कोर्ट में पेश किया गया।

📌 पुलिस अधिकारियों की भूमिका

यह पूरी कार्रवाई पुलिस इंस्पेक्टर भारत घोणे (यूनिट 6, चेंबूर) की देखरेख में हुई।
आगे की जांच का जिम्मा पुलिस इंस्पेक्टर सुशांत सावंत की टीम को सौंपा गया है।

⚖️ कानून और IMEI छेड़छाड़ का अपराध

भारत में मोबाइल का IMEI नंबर बदलना या छेड़छाड़ करना एक गंभीर अपराध है।

  • भारतीय न्याय संहिता (BNS) के तहत इस पर सख्त सज़ा और जुर्माना हो सकता है।
  • मोबाइल कंपनियों और पुलिस दोनों के लिए यह अपराध ट्रैकिंग सिस्टम को नुकसान पहुंचाता है।

🌐 मुंबई में बढ़ते साइबर क्राइम केस

मुंबई जैसे बड़े शहर में मोबाइल और साइबर क्राइम तेजी से बढ़ रहे हैं।

  • IMEI नंबर बदलने वाले ऐसे गैंग चोरी हुए फोन, ब्लैक मार्केट और धोखाधड़ी में शामिल होते हैं।
  • कई बार इन मोबाइल का इस्तेमाल बड़े क्राइम (फ्रॉड, स्मगलिंग, ड्रग्स नेटवर्क) में किया जाता है।
    👉 इसीलिए पुलिस लगातार इस तरह के नेटवर्क पर नज़र बनाए हुए है।

📊 मोबाइल यूज़र्स के लिए चेतावनी

  • सेकेंड हैंड फोन खरीदते वक्त हमेशा IMEI नंबर चेक करें।
  • IMEI चेक करने के लिए *#06# डायल करें।
  • नकली, ब्लैकलिस्टेड या बदले हुए IMEI वाले फोन पर नेटवर्क सर्विस बंद हो सकती है।
  • ऐसे फोन खरीदने पर कानूनी पचड़े में फंसने का खतरा रहता है।

📱 IMEI नंबर कैसे चेक करें?

(हर मोबाइल यूज़र के लिए ज़रूरी जानकारी)

  • अपने मोबाइल पर *#06# डायल करें 👉 IMEI नंबर स्क्रीन पर दिखेगा।
  • फोन की सेटिंग्स → अबाउट फोन → IMEI में भी यह नंबर मिलता है।
  • मोबाइल के डिब्बे और बिल पर भी IMEI प्रिंट होता है।
  • कभी भी सेकेंड-हैंड मोबाइल खरीदते समय IMEI ज़रूर मिलाएं।

⚖️ IMEI छेड़छाड़ पर क्या सज़ा है?

भारत में IMEI नंबर बदलना या छेड़छाड़ करना है गंभीर अपराध

  • 📌 भारतीय न्याय संहिता (BNS) की संबंधित धाराओं में केस दर्ज होता है।
  • ⛔ अपराध साबित होने पर जेल + भारी जुर्माना हो सकता है।
  • 🚔 IMEI बदलने वाले फोन का इस्तेमाल ब्लैकलिस्ट हो जाता है।

🚨 मुंबई पुलिस की चेतावनी

  • नकली या बदले हुए IMEI वाले मोबाइल का इस्तेमाल न करें।
  • सेकेंड-हैंड मोबाइल खरीदने से पहले IMEI ऑनलाइन चेक करें।
  • संदिग्ध मोबाइल की तुरंत पुलिस या सर्विस प्रोवाइडर को जानकारी दें।

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