इस्माइल शेख
मुंबई– बॉलीवुड और हॉलीवुड फिल्मों में काम कर चुकी अभिनेत्री कंगना राणावत सोमवार को उनके खिलाफ दायर याचिका के संबंध में मुंबई की अदालत में पेश हुई, इस दौरान उन्होंने कहा कि “मजिस्ट्रेट कोर्ट पर भरोसा नहीं रहा, क्यों कि कोर्ट ने जमानती अपराध के मामले में पेश नहीं होने पर वारंट जारी करने की परोक्ष रुप से धमकी दी।”
आप को जानकारी देते हुए बता दें, कि 76 वर्षीय गीतकार जावेद अख्तर द्वारा कंगना राणावत के खिलाफ दायर आपराधिक मानहानि शिकायत के संबंध में सोमवार को कंगना मुंबई की एक अदालत में पेश हुईं। इसी दौरान कंगना राणावत ने गीतकार जावेद अख्तर की शिकायत के जवाब में ‘जबरन वसूली और आपराधिक धमकी’ का आरोप लगाते हुए एक याचिका भी दायर की।
कंगना के वकील ने अदालत को सूचित किया है, कि उन्होंने मुख्य मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट के समक्ष एक अर्जी दी थी जिसमें शिकायत की सुनवाई किसी अन्य अदालत में स्थानांतरित करने का अनुरोध किया गया है।
जानकारी देते हुए बता दें, कि कोर्ट ने पिछले हफ्ते कहा था, कि “अगर कंगना राणावत सुनवाई की अगली तारीख 20 सितंबर को कोर्ट में पेश नहीं होती हैं तो अदालत राणावत के खिलाफ वारंट जारी करेगी।” इस साल फरवरी में समन जारी होने के बाद से कंगना पहली बार सोमवार को अंधेरी न्यायालय के न्यायमूर्ति आर.आर. खान के सामने पेश हुईं और जमानत की औपचारिकताएं पूरी कीं।
जैसे ही मामला अदालत के समक्ष सुनवाई के लिए आया कंगना के वकील रिजवान सिद्दीक़ी ने बताया, कि “राणावत इस न्यायालय (शिकायत के संबंध में) के साथ आगे नहीं बढ़ना चाहती।” सिद्दीकी ने कहा, कि “इस अदालत में विश्वास नहीं रहा क्योंकि प्रतीत होता है कि अदालत मामले में पक्षपाती रवैया अपना रही है।”
कंगना के वकील सिद्दीक़ी ने दावा किया कि अदालत ने अप्रत्यक्ष रूप से कंगना को गैर-संज्ञेय, क्षमा योग्य अपराध और जमानती अपराध के मामले में दो मौकों पर वारंट जारी करने की ‘धमकी’ दी है, जहां कानून के अनुसार नियमित उपस्थिति की आवश्यकता नहीं है। रिजवान सिद्दीक़ी ने कहा, कि “कंगना को बिना किसी वजह या कारण के अदालत में बुलाया गया है।” उन्होंने कहा, कि “आज तक ऐसा कोई आदेश नहीं आया है जिसमें यह बताया गया हो, कि “आखिर अभिनेत्री को जमानती, गैर-संज्ञेय और क्षमा योग्य अपराध के लिए नियमित रूप से उपस्थित होने की आवश्यकता क्यों है?”
गीतकार जावेद अख्तर के वकील जय भारद्वाज ने शिकायत को दूसरी अदालत में स्थानांतरित करने की कंगना की याचिका को ‘बेहद अजीब’ करार दिया है। भारद्वाज ने कहा, कि “उन्होंने हमें न तो कोई नोटिस दिया है और न ही (स्थानांतरण) अर्जी की प्रति दी है।”
अदालत मामले की अगली सुनवाई 15 नवंबर को करेगी। इस महीने की शुरुआत में मुंबई हाई कोर्ट ने कंगना राणावत की उस याचिका को खारिज कर दिया जिसमें अख्तर की आपराधिक मानहानि शिकायत पर स्थानीय अदालत से उनके खिलाफ शुरू की गई कार्यवाही रद्द करने का अनुरोध किया गया था।
न्यायमूर्ति रेवती मोहिते-डेरे ने अपने आदेश में कहा था, कि “कार्यवाही शुरू करने के मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट के आदेश में कोई प्रक्रियात्मक गैर कानूनी या अनियमितता नहीं है। पूरे प्रकरण की जानकारी देते हुए आप को बता दें कि 76 वर्षीय गीतकार जावेद अख्तर ने पिछले साल नवंबर में अदालत में शिकायत दर्ज कराई थी।
इसमें दावा किया गया था, कि कंगना राणावत ने एक टेलीविजन साक्षात्कार में उनके खिलाफ अपमानजनक बयान दिया जिससे उनकी प्रतिष्ठा को कथित तौर पर नुकसान पहुंचा। अपनी शिकायत में अख्तर ने दावा किया कि पिछले साल जून में अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की कथित आत्महत्या मामले में रनौट ने एक साक्षात्कार में बॉलीवुड में मौजूद ‘गुट’ का जिक्र करते हुए उनका नाम घसीटा।
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