इस्माइल शेख
मुंबई – महाराष्ट्र सरकार गठन के खिलाफ NCP, कांग्रेस और शिवसेना की याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को अहम फैसला सुनाया! आदेश के मुताबिक, गठित सरकार को कल यानी बुधवार को फ्लोर टेस्ट (बहुमत) देना होगा! यह फ्लोर टेस्ट बुधवार शाम 5 बजे से पहले करना होगा! फ्लोर टेस्ट का लाइव टेलिकास्ट भी कराना होगा! फैसला आने के बाद एनसीपी नेता नवाब मलिक ने कहा, ‘सत्यमेव जयते। भाजपा का खेल खत्म।’ वहीं, कांग्रेस नेता अशोक चव्हाण ने कहा कि संविधान दिवस पर संविधान का सम्मान हुआ!
सुप्रीम कोर्ट के तीन जज जस्टिस एनवी रमन्ना, जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस अशोक भूषण की बेंच ने यह फैसला सुनाया! कोर्ट के आदेश के मुताबिक, पहले प्रोटेम स्पीकर सभी विधायकों को शपथ दिलाएंगे, उसके बाद फ्लोर टेस्ट होगा!
सुप्रीम कोर्ट ने कहा, ‘महाराष्ट्र विधानसभा के सभी निर्वाचित सदस्य 27 नवंबर को शपथ लेंगे! साथ ही हम महाराष्ट्र के राज्यपाल से अनुरोध किया कि वह 27 नवंबर को विश्वास मत सुनिश्चित करें।’ सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि महाराष्ट्र विधानसभा की पूरी कार्रवाई का सीधा प्रसारण किया जाना चाहिए! कोर्ट ने यह भी कहा कि महाराष्ट्र विधानसभा में विश्वास मत के लिए गुप्त मतदान नहीं होगा, पूरी प्रक्रिया पांच बजे तक पूरी हो जानी चाहिए! वहीं, शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस गठबंधन की ओर से कोर्ट में कपिल सिब्बल ने मांग की कि अदालत सीएम देवेंद्र फडणवीस पर महत्वपूर्ण नीतिगत फैसले लेने पर रोक लगाए! हालांकि, कोर्ट ने इस बारे में कोई जानकारी नहीं दी है!
सुप्रीम कोर्ट ने इस बात का भी जिक्र किया कि चुनाव नतीजे घोषित होने के एक महीने बीत जाने के बावजूद विधायकों ने शपथ नहीं ली! कोर्ट के मुताबिक, हॉर्स ट्रेडिंग यानी विधायकों की खरीद-फरोख्त रोकने के लिए फ्लोर टेस्ट का अंतरिम आदेश जरूरी है! बता दें कि भाजपा और शिवसेना गठबंधन, दोनों बहुमत होने का दावा कर रहे हैं! दरअसल, महाराष्ट्र में देवेन्द्र फडणवीस को मुख्यमंत्री पद की शपथ दिलाने के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के फैसले के खिलाफ शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस ने अदालत का दरवाजा खटखटाया था!
कोर्ट के फैसले पर NCP की प्रतिक्रिया
NCP के पार्टी प्रमुख शरद पवार ने महाराष्ट्र विधानसभा में फ्लोर टेस्ट कराने के उच्चतम न्यायालय के आदेश की प्रशंसा करते हुए कहा कि लोकतांत्रिक मूल्यों और संवैधानिक सिद्धांतों को बरकरार रखने के लिए वह सुप्रीम कोर्ट के आभारी हैं! उन्होंने कहा कि यह सुखद है कि यह फैसला उस वक्त आया जब देश ‘संविधान दिवस’ मना रहा है! साथ ही उन्होंने इस फैसले को संविधान के निर्माता डॉक्टर आंबेडकर को श्रद्धांजलि बताया! पवार ने ट्वीट कर कहा कि, ‘‘मैं लोकतांत्रिक मूल्यों एवं संवैधानिक सिद्धातों को बरकरार रखने के लिए माननीय उच्चतम न्यायालय का आभारी हूं! यह खुशी की बात है कि महाराष्ट्र पर फैसला संविधान दिवस के मौके पर आया जो भारत रत्न डॉ.बाबासाहेब आंबेडकर को एक श्रद्धांजलि है!’’
शिवसेना और कांग्रेस
शिवसेना ने महाराष्ट्र के राजनीतिक घटनाक्रम पर उच्चतम न्यायालय के फैसले पर कहा, सत्य की जीत होगी, उसकी कभी हार नहीं हो सकती! वहीं, कांग्रेस नेता चव्हाण ने महाराष्ट्र विधानसभा में तीन पार्टियों के बहुमत साबित करने का विश्वास जताते हुए कहा कि भाजपा के दावे की पोल कल खुल ही जाएगी! वहीं, कांग्रेस नेता पृथ्वीराज चव्हाण ने कहा कि वह महाराष्ट्र विधानसभा में शक्ति प्रदर्शन के फैसले से संतुष्ट हैं! उनके मुताबिक, संविधान दिवस पर संविधान का सम्मान हुआ है!
घोड़ों का अस्तबल हुआ खाली या जॉकी गायब
इससे पहले, सोमवार को उच्चतम न्यायालय में सुनवाई के दौरान विधायकों की खरीद फरोख्त के मुद्दे पर दोनों पक्षों के बीच तीखी नोकझोंक हुई थी! राज्य विधानसभा में आंकड़ों के खेल पर दलीलों के दौरान सॉलिसीटर जनरल तुषार मेहता ने कहा, ‘‘यह हॉर्स ट्रेडिंग (विधायकों की खरीद फरोख्त) का मामला नहीं है, यहां तो पूरा अस्तबल ही खाली हो गया है!’’ वहीं, वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने इस तंज पर पलटवार करते हुए कहा: ‘‘अस्तबल तो अभी भी है, केवल ‘जॉकी’ (मुख्य घुड़सवार अजित पवार) भाग गया है!’’इसके बाद मेहता ने एक और तंज कसा और कहा कि गठबंधन द्वारा एक याचिका दायर करने का समझौता हुआ था लेकिन मामले में कई वकील-सिब्बल, ए एम सिंघवी और अन्य लोग पेश हुए! उन्होंने कहा, ‘‘तीनों पार्टियों को तो वकील भी साझा नहीं मिला!’’
अजीत पवार विधायक दल के नेता नहीं
शरद पवार ने कहा, ‘‘गलत सूचना फैलायी जा रही है कि अजित पवार राकांपा के विधायक दल के नेता हैं, जो सभी (राकांपा) विधायकों को (शक्ति परीक्षण में) भाजपा को वोट करने के लिए व्हिप जारी करेंगे।’’ एनसीपी प्रमुख ने कहा कि उन्होंने कई संविधान विशेषज्ञों और कानून विशेषज्ञों से विचार- विमर्श किया है और पूर्व के मुद्दों पर भी गौर किया है। पवार ने कहा, ‘‘मैं इस निष्कर्ष पर पहुंचा हूं कि अजित पवार जिन्हें उनके (सरकार गठन के लिए भाजपा से हाथ मिलाने के कारण राकांपा विधायक दल के नेता) पद से हटा दिया गया है, उनके पास विधायकों को व्हिप जारी करने का कोई कानूनी अधिकार नहीं है!’’परोक्ष तौर पर भाजपा का हवाला देते हुए पवार ने कहा, ‘‘मैं निजी तौर पर जिम्मेदारी लेता हूं कि सदन से आपकी सदस्यता निरस्त नहीं होगी! अवैध तरीके से सत्ता पर कब्जा करने वालों को अब हटना होगा!’’
सुप्रीम फैसले से पहले शहीदों की याद
अपनी सरकार के खिलाफ दी गई याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले से पहले महाराष्ट्र के सीएम देवेंद्र फडणवीस मुंबई के मरीन ड्राइव स्थित पुलिस मेमोरियल पर शहीदों को श्रद्धांजलि देने के लिए पहुंचे!
शिवसेना सांसदों की संसद संयुक्त बैठक का बहिष्कार
शिवसेना के सांसदों ने सोमवार को कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से मुलाकात की थी और उन्हें बताया कि महाराष्ट्र में राजनीतिक घटनाक्रम के विरोध में वे संविधान दिवस मनाने के लिए बुलाई गई संसद की संयुक्त बैठक में हिस्सा नहीं लेंगे! सोनिया गांधी के निवास 10 जनपथ पर शिवसेना सांसदों का पहुंचना, वैचारिक रूप से दो विपक्षी दलों के नेताओं के बीच शायद इस तरह की पहली बैठक थी! सरकार संविधान सभा द्वारा संविधान अंगीकार करने के 70 साल होने के उपलक्ष्य में संसद के केंद्रीय कक्ष में मंगलवार को संविधान दिवस मनाने वाली है! शिवसेना के सांसद गजानन कीर्तिकर ने कहा कि सांसदों ने सोनिया गांधी से मुलाकात की और कहा कि उनकी पार्टी महाराष्ट्र में घटनाक्रम के खिलाफ विरोध में विपक्ष का साथ देगी! उन्होंने कहा कि पार्टी के सांसद मंगलवार को संयुक्त बैठक में हिस्सा नहीं लेंगे! कीर्तिकर के साथ शिवसेना के सांसद अरविंद सावंत, राहुल सिवाले, अनिल देसाई ने सोनिया गांधी से आवास पर मुलाकात की!
बीजेपी को अजीत पवार का सहारा
बीजेपी नेता आशीष शेलार ने कहा कि अजीत पवार ही विधानसभा में एनसीपी दल के नेता हैं, इसलिए उनका व्हिप ही विधायक दल नेता के तौर पर मान्य होगा! बता दें कि अजीत पवार को एनसीपी प्रमुख ने विधायक दल नेता के पद से हटा दिया है! उनकी जगह जयंत पाटिल को यह जिम्मेदारी सौंपी गई है!
यह गोवा नहीं है- पवार
महाराष्ट्र में देवेंद्र फडणवीस सरकार के शक्ति परीक्षण के संबंध में उच्चतम न्यायालय का फैसला आने से एक दिन पहले शिवसेना-राकांपा-कांग्रेस गठजोड़ ने अपनी ताकत दिखाते हुए 162 विधायकों की परेड करायी थी! कार्यक्रम में सभी विधायकों ने भाजपा के किसी भी प्रलोभन के सामने नहीं झुकने का संकल्प लिया था! एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने इकट्ठा विधायकों से कहा था कि वह निजी तौर पर सुनिश्चित करेंगे कि महाराष्ट्र विधानसभा में शक्ति परीक्षण के दौरान भाजपा के खिलाफ वोंटिंग करने पर किसी की भी सदस्यता नही जाएगी! पवार मुंबई के पांच सितारा होटल में शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस के ‘महा विकास आघाडी’ गठजोड़ के विधायकों की संयुक्त बैठक को संबोधित कर रहे थे! पवार ने कहा, ‘‘महाराष्ट्र,गोवा नहीं है और यह समय उन्हें सबक सिखाने का है!’’
भाजपा ने परेड का मजाक उड़ाया
भाजपा ने शिवसेना-राकांपा और कांग्रेस के विधायकों की यहां परेड कराकर किए गए संयुक्त शक्ति प्रदर्शन पर निशाना साधते हुए सोमवार को कहा था कि विधानसभा के पटल पर उनकी पार्टी ही आखिरी जीत दर्ज करेगी! भाजपा नेता और महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री आशीष शेलार ने संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए शिवसेना-राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी में NCP, कांग्रेस की ‘पहचान परेड’ की आलोचना करते हुए इसे राज्य के लोगों और लोकतंत्र के साथ क्रूर मजाक करार दिया था! विपक्षी दलों की ओर यहां होटल के समक्ष विधायकों की अभूतपूर्व सार्वजनिक परेड कराकर 162 विधायकों के समर्थन का दावा करने के कुछ मिनटों बाद ही उन्होंने कहा था कि विधानसभा में होने वाले विश्वासमत से इसकी बराबरी नहीं की जा सकती है! पूर्व मंत्री ने कहा कि पहचान परेड गवाहों के लिए होती है जिसमें वे अपराधियों की पहचान करते हैं!
सोमवार को संसद में हंगामा
महाराष्ट्र मुद्दे पर कांग्रेस सहित विभिन्न विपक्षी सदस्यों के हंगामे के कारण सोमवार को संसद के दोनों सदनों की कार्यवाही दिन भर बाधित रही! हंगामे के कारण लोकसभा दो बार के स्थगन के बाद वहीं राज्यसभा एक बार के स्थगन के बाद पूरे दिन के लिए स्थगित कर दी गयी थी! गौरतलब है कि महाराष्ट्र में अप्रत्याशित राजनीतिक घटनाक्रम में राज्यपाल ने शनिवार की सुबह भाजपा नेता देवेंद्र फडणवीस को मुख्यमंत्री और राकांपा नेता अजित पवार को उप मुख्यमंत्री पद की शपथ दिला दी थी! लोकसभा में सोमवार को प्रश्नकाल के दौरान मौखिक सवाल के रूप में पहला प्रश्न कांग्रेस नेता राहुल गांधी के नाम से सूचीबद्ध था लेकिन महाराष्ट्र मुद्दे पर उस समय सदन में चल रहे हंगामे की ओर ध्यान दिलाते हुए वायनाड से सांसद ने कहा, ‘‘महाराष्ट्र में लोकतंत्र की हत्या हुई है, ऐसे में मेरे सवाल पूछने का कोई मतलब नहीं है।’’
कोर्ट में अजीत पवार ने खुद को बताया असली
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने सोमवार को उच्चतम न्यायालय को बताया कि वह असली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) से हैं और पार्टी के 54 विधायकों ने उन्हें अपनी तरफ से राज्य में सरकार गठन पर निर्णय के लिए अधिकृत किया है! एनसीपी प्रमुख शरद पवार के भतीजे अजित पवार ने शीर्ष अदालत से कहा कि ‘‘परिवार में झगड़ा जल्द सुलझ जाएगा!’’ न्यायमूर्ति एनवी रमण, न्यायमूर्ति अशोक भूषण और न्यायमूर्ति संजीव खन्ना को अजित पवार की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता मनिंदर ने बताया कि राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी को भाजपा के साथ सरकार गठन के लिए सौंपा गया पत्र “तथ्यात्मक और कानूनी रूप से सही है!” पवार ने कहा “पत्र का खंडन करने के लिए कुछ भी नहीं है! जिस दिन मैंने पत्र दिया, मेरी पार्टी के 54 विधायकों ने सरकार गठन पर निर्णय लेने के लिए विधायक दल के नेता के रूप में मुझे अधिकृत किया! मेरे परिवार में जो झगड़ा है, वह जल्द सुलझ जाएगा, लेकिन इस याचिका का अभी अंत होना चाहिए।”
बहरहाल याचिका पर मंगलवार अंतिम फैसला हो गया! सुप्रीम कोर्ट ने कहा, ‘महाराष्ट्र विधानसभा के सभी निर्वाचित सदस्य 27 नवंबर को शपथ लेंगे! हम महाराष्ट्र के राज्यपाल से अनुरोध करते हैं कि वह 27 नवंबर को विश्वास मत सुनिश्चित करें!’ उच्चतम न्यायालय ने कहा कि महाराष्ट्र विधानसभा की पूरी कार्यवाही का सीधा प्रसारण होगा! कोर्ट ने यह भी कहा कि महाराष्ट्र विधानसभा में विश्वास मत के दौरान गुप्त मतदान नहीं होगा, पूरी प्रक्रिया पांच बजे तक पूरी हो जानी चाहिए!
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